गोरखपुर में असली पुलिस ही करती थी लूटपाट, दरोगा समेत 3 गिरफ्तार

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यूपी पुलिस मे तैनात दरोगा और सिपाहियों ने ही लूटपाट की घटनाओं को अंजाम देना शुरूकर दिया। इस बात का जब खुलासा हुआ तब पुलिस विभाग भी शर्मिंदा हो उठा। पुलिस ने सीसीटीवी कैमरे की फुटेज व सर्विलांस की मदद से गोरखपुर पुलिस ने गुरुवार की सुबह दारोगा समेत तीन आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया।

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इनके कब्‍जे से घटना में इस्‍तेमाल हुई बोलेरो, लूटी गई रकम व गहने बरामद हुए हैं। वारदात में शामिल एक अन्‍य सिपाही की तलाश चल रही है। सभी आरोपितों से पुलिस पूछताछ कर रही है।

महराजगंज जिले के निचलौल के निवासी सराफा कारोबारी तारकेश्वर वर्मा के भाई दीपक और दूसरे कारोबारी गौतम वर्मा के कर्मचारी रामू वर्मा बुधवार को गहनों की खरीददारी करने बस से लखनऊ जा रहे थे।

दीपक के पास 11.10 लाख रुपये नकद व करीब पांच लाख रुपये का सोना व रामू के पास 6 लाख रुपये नकद व करीब 8 लाख रुपये सोना (जेवरात गलाकर तैयार किया गया सोना) था। दोनों एक ही बैग में रुपये व सोना लेकर जा रहे थे।

गोरखपुर में रेलवे बस स्‍टेशन पर वर्दीधारी दारोगा व दो सिपाहियों ने उन्‍हें पकड़ लिया। तस्‍करी करने का आरोप लगाते हुए उन्हें कार्मल स्कूल की तरफ ले गए।

पूछताछ करने के बहाने वहां से टेंपों में बैठाकर नौसढ़ ले गए। जहां पिटाई करने के बाद गहने व रुपये से भरा बैग छीन लिया।

पुलिस ने अज्ञात बदमाशों के खिलाफ लूट का मुकदमा दर्ज कर कैंट पुलिस के साथ ही क्राइम ब्रांच व नौसढ़ चौकी प्रभारी बदमाशों की तलाश में थे। रेलवे बस स्‍टेशन, कार्मल रोड, नौसढ़ व सहजनवां में लगे सीसीटीवी कैमरे की जांच में मिले फुटेज के आधार पर टीम बस्‍ती पहुंची।

सर्विलांस की मदद से पुरानी बस्‍ती थाने पहुंच घटना में इस्‍तेमाल बोलेरो के साथ ही वारदात को अंजाम देने वाले दारोगा व दो सिपाहियों को दबोच लिया।

दीपक व रामू ने फोटो देखकर वारदात को अंजाम देने वाले दारोगा व सिपाहियों को पहचान लिया। आरोपितों से पूछताछ करने पर पता चला कि उन्‍होंने लूट की कई घटनाओं को अंजाम दिया है।

डीआईजी/एसएसपी जोगेंद्र कुमार ने बताया कि लूट करने वाले तक पुलिस पहुंच गई है। जल्‍द ही घटना का पर्दाफाश किया जाएगा।